वाराणसी: भारत में प्रदूषण अपने चरम पर है और अब वह धीरे धीरे जानलेवा रूप ले रहा है. वहीीं दिल्ली और हरियाणा में भी प्रदूषण अपने चरम पर है. प्रदूषण केेेेेे बहुत सारे कारण है. जिनमें से सबसे महत्वपूर्ण कारणों में एक वाहनों से निकलने वाला धुआं है. राजधानी दिल्ली और हरियाणा में पेट्रोल-डीजल से चलने वाले वाहनों से भारी मात्रा में प्रदूषण बढ़ता है और इससे निपटने के लिए दिल्ली सरकार ने एक बड़ा कदम उठाया है. राज्य सरकारों ने निर्देश दिए हैं कि 15 साल से पुराने वाहनों को अनिवार्य रूप से स्क्रैप या कहें तो नष्ट किया जाएगा, चाहे वाहन पेट्रोल हो या फिर डीजल. वहीं हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने भी अप्रैल 2022 से राज्य में इस नियम को सख्ती से लागू करने की बात कही है.
जब्त कर लिया जाएगा वाहन
बताया जा रहा है कि ऐसे वाहन अगर सड़क पर चलते दिखे तो उन्हें तत्काल जब्त कर लिया जाएगा. वाहन मालिक पर जुर्माना किया जाएगा और उनका वाहन ट्रांसपोर्ट विभाग के लाइसेंस्ड स्क्रैपर को सौंप दिया जाएगा. यहां स्क्रैपर वाहन को टो करने की व्यवस्था करेगा और आपके वाहन को स्क्रैपेज सेंटर भेज दिया जाएगा. अगर मौके पर स्क्रैपर नहीं आ पा रहा तो स्थानीय पुलिस के पास इस वाहन को जब्त करने का अधिकार होगा और इसे पुलिस द्वारा स्क्रैपिंग यार्ड भेजा जाएगा.
कार मालिक पर जुर्माना
बता दें कि 15 साल से पुरानी कारों को सड़कों पर पार्क करने की अनुमति भी नहीं होगी और इस स्थिति में वाहन को टो किया जाएगा और कार मालिक पर जुर्माना किया जाएगा. राज्य द्वारा अधिकृत स्क्रैपर इस वाहन की मार्केट वेल्यू का हिसाब लगाकर मालिक को इसकी रकम दे देगा. अगर स्क्रैपर और वाहन मालिक के बीच कुछ विवाद होता है तो इसका निपटारा स्थानीय पुलिस द्वारा किया जाएगा. हरियाणा में ऑटो चालकों की सहूलियत के लिए मुख्यमंत्री ने उन्हें वाहन बदलने के लिए पर्याप्त समय देने की बात कही है. उनकी सुविधा के लिए 10 मार्च 2022 को बाकायदा एक कैंप लगाया जाएगा.